(नोट - रिपोर्ट में दिया गया कुछ ब्योरा पाठकों को विचलित कर सकता है.)
आंध्र प्रदेश के कुरनूल में शुक्रवार को एक यात्री बस के एक मोटरसाइकिल से टकराने से हुए हादसे में एक मोटरसाइकिल चालक समेत 20 लोगों की मौत हो गई.
हैदराबाद से बेंगलुरु जा रही ये बस एक मोटरसाइकिल से टकरा गई थी जिसके बाद बस में आग लग गई. कुरनूल रेंज के डीआईजी प्रवीण कोया ने बताया कि हादसे में 19 शव बरामद किए गए हैं.
यह दुर्घटना कुरनूल के बाहरी इलाके़ में कल्लूर मंडल के चिन्ना टेकुरु में राष्ट्रीय राजमार्ग 44 पर शुक्रवार सुबह लगभग 3 बजे हुई.
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कुरनूल ज़िला कलेक्टर के अनुसार हादसे के वक़्त बस में कुल 46 लोग सवार थे. बताया गया है कि बस में सवार बाक़ी लोगों ने बस से कूदकर अपनी जान बचाई.
ए. सिरी ने बताया कि इस दुर्घटना के पीड़ितों और उनके परिजनों की सहायता के लिए कलेक्टरेट, अस्पताल और पुलिस के स्तर पर नियंत्रण कक्ष बनाए गए हैं.
कुरनूल ज़िले के पुलिस अधीक्षक विक्रांत पाटिल ने बताया है कि पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया है और आगे की जांच चल रही है.
समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार बस ड्राइवर को भी पुलिस ने हिरासत में ले लिया है.
उन पर आरोप है कि वो स्थिति का आकलन करने में असमर्थ रहे और बस में आग लगने पर खिड़की से बाहर कूद गए.
आख़िर कैसे हुआ हादसा?कुरनूल ज़िला पुलिस ने इस हादसे के बारे में और जानकारी दी है.
कुरनूल के एसपी विक्रांत पाटिल के मुताबिक़, "हादसे के वक़्त बाइक पर दो लोग सवार थे. पीछे बैठने वाले व्यक्ति की पहचान एरिस्वामी उर्फ़ नानी के तौर पर की गई है."
एरिस्वामी से पूछताछ करने पर पुलिस को हादसे के बारे में अधिक जानकारी मिली है. एसपी पाटिल के मुताबिक़, "एरिस्वामी ने बताया कि वो और उनके एक मित्र शिव शंकर (जो मोटरसाइकिल चला रहे थे) रात के क़रीब दो बजे लक्ष्मीपुरम गांव से निकले थे. शिव शंकर, एरिस्वामी को टुग्गली गांव तक पहुंचाने जा रहे थे."
पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार रास्ते में रात के क़रीब दो बजकर 24 मिनट पर दोनों ने एक कार मोटर्स के शोरूम के नज़दीक मौजूद पेट्रोल पंप पर रुके. यहां से उन्होंने 300 रुपये का पेट्रोल भरवाया और आगे के सफर के लिए निकल पड़े.
इसके कुछ देर बाद चिन्ना टेकुरु के नज़दीक शिव शंकर की मोटरसाइकिल फिसल गई और सड़क पर घिसटते हुए सड़क की दाहिनी ओर डिवाइडर से टकरा गई.
एसपी ने बताया, "शिव शंकर की मौत घटनास्थल पर ही हो गई, वहीं पीछे बैठे एरिस्वामी को मामूली चोटें आईं."
"जब एरिस्वामी ने शिव शंकर को खींचकर उन्हें सड़क के किनारे रखा, उन्हें इस बात का आभास हुआ कि उनकी मौत हो चुकी है."
वो कहते हैं, "एरिस्वामी कहते हैं कि इसके बाद वो सड़क पर पड़ी बाइक को हटाने की कोशिश करने लगे, इतने में आ रही बस बाइक से टकरा गई और उसे कुछ दूर तक अपने साथ घसीटते हुए ले गई."
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द इंडियन एक्सप्रेस में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार पुलिस को मिले सीसीटीवी फुटेज में पेट्रोल पंप से बाहर जाते हुए मोटरसाइकिल फिसल कर गिर गई.
इसके कुछ वक़्त बाद आ रही बस बाइक से टकरा गई और उसे कुछ सौ मीटर तक घसीटते हुए आगे ले गई.
ज़िला कलेक्टर ए. सिरी के मुताबिक़ एरिस्वामी ने बताया कि बस के नीचे के हिस्से से आग की लपटें उठने लगीं, जिसे देखकर वो घबरा गए और हादसे की जगह से भाग कर टुग्गली चले गए.
कुरनूल ज़िला कलेक्टर डॉ. ए. सिरी कहते हैं, "ऐसा लगता है कि बस के इंजन के नीचे अचानक आग लग गई. हमने शुरू में अनुमान लगाया था कि बस के फ्यूल टैंक में आग लगी थी."
वहीं द हिंदू के अनुसार हादसे के चश्मदीद एरिस्वामी ने पुलिस से कहा था कि उन्होंने बस में आग लगते हुए देखा और दूर से यात्रियों की चीखें सुनीं.
उन्होंने बताया था कि वो पुलिस और अग्निशमन विभाग के लोगों के आने तक घटनास्थल पर ही थे और बाद में एक ट्रैक्टर में बैठकर टुग्गली गांव चले गए.
इस रिपोर्ट के अनुसार जब पुलिस को पता चला कि एरिस्वामी गुरुवार शाम को शिव शंकर के घर आए थे, उन्हें एरिस्वामी के इस मामले से जुड़े होने का शक़ पैदा हुआ.
बाद में पुलिस ने उन्हें टुग्गली गांव से पकड़ा और उनसे पूछताछ शुरू की जिसके बाद हादसे को लेकर और जानकारी सामने आई.
वहीं एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के अनुसार इस घटना से जुड़ा एक वीडियो सोशल मीडिया में सर्कुलेट हो रहा है जिसके बाद बाइक चालक की भूमिका पर सवाल उठाए जा रहे हैं.
हालांकि बीबीसी इस वीडियो की स्वतंत्र रूप से पुष्टि नहीं करता है.
इसमें बाइक सवार दोनों व्यक्ति रात क़रीब दो बजकर 23 मिनट पर पेट्रोल पंप पर आते हैं लेकिन वहां किसी एटेन्डेंट को न पाकर उसे खोजने लगते हैं.
इसके बाद बाइक चालक स्टैंड पर खड़ी बाइक को बिना स्टैंड खोले मोड़ता है और परेशान होकर वहां से चला जाता है. जाते वक्त बाइक लड़खड़ा जाती है.
एनडीटीवी के अनुसार सूत्रों का कहना है कि बाइक चालक की इस हरकत के बाद पुलिस को शक हुआ कि कहीं वो नशे में तो बाइक नहीं चला रहे थे.
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अधिकारियों का कहना है कि इस दुर्घटना में मरने वालों की संख्या बढ़ने का एक कारण बस के दरवाज़े न खुलना है.
ज़िला कलेक्टर ए. सिरी ने बीबीसी न्यूज़ तेलुगु को बताया, "शुरुआती तौर पर ऐसा माना जा रहा है कि बस के इंजन में आग लगने और तारों के जलने के कारण दरवाज़ों की हाइड्रोलिक प्रणाली क्षतिग्रस्त हो गई थी. इस कारण बस के दरवाजे़ नहीं खुले और कुछ यात्रियों की मौत बाहर नहीं निकल पाने के कारण हो गई."
समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार, कुछ शव हादसे में इतने जल चुके थे कि उनकी पहचान नहीं हो पा रही थी, जिसके कारण अधिकारियों को मृतकों के डीएनए नमूने एकत्र करने के लिए फोरेंसिक टीमों को बुलाना पड़ा.
एक अन्य अधिकारी के अनुसार कई यात्री इस हादसे से बच नहीं सके, क्योंकि यह घटना रात में उस समय घटी जब वे सो रहे थे.
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इस हादसे पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने दुख जताया है. पीएम ने मृतकों के परिजनों को प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से 2 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने और घायलों को 50,000 रुपये देने की घोषणा की है.
वहीं आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू और तेलंगाना में उनके समकक्ष ए रेवंत रेड्डी ने घटना पर दुख व्यक्त किया है.
हादसे के बाद आंध्र प्रदेश के ट्रांसपोर्ट मंत्री रामप्रसाद रेड्डी ने कहा कि यात्रियों की सुरक्षा सरकार की प्राथमिकता है.
ट्रांसपोर्ट मंत्री रामप्रसाद रेड्डी ने बताया कि प्रदेश सरकार ने मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये और घायलों को दो-दो लाख रुपये देने की घोषणा की है.
साथ ही उन्होंने कहा है कि सभी निजी बसों के फ़िटनेस सर्टिफ़िकेट और परमिट की जांच के आदेश दिए गए हैं.
बीबीसी के लिए कलेक्टिव न्यूज़रूम की ओर से प्रकाशित.
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