Next Story
Newszop

झारखंड के धान रोपाई का 'उत्सव' परवान पर, 'कादो-कीचड़ भरे' खेतों में उतर रहे मंत्री, विधायक और अफसर

Send Push

रांची, 20 जुलाई . झारखंड की धरती इन दिनों उम्मीदों की हरियाली में नहाई हुई है. मानसून की भरपूर बारिश से खेतों में पानी ठहरा है. तालाब और डोभा लबालब भरे हैं. धान के बिचड़ों की नाजुक हरियाली खेतों में लहरा रही है और पूरे राज्य में धान की रोपनी का ‘उत्सव’ परवान पर है.

खेती-किसानी के इस उत्सव में राज्य के मंत्री, विधायक, नेता और अफसर भी खेतों में उतर रहे हैं. कोई हल-बैल चला रहा है, कोई बिचड़ा उखाड़ रहा है, तो कोई पानी भरे खेतों में धान की पौध लगा रहा है. पिछले पांच-छह दिनों में झारखंड में ऐसी कई तस्वीरें सामने आई हैं.

16 जुलाई को राज्य के पहले Chief Minister और नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी गिरिडीह के तिसरी प्रखंड स्थित अपने गांव कोदांईबांक में धान की रोपाई करते दिखे थे. सोशल मीडिया पर तस्वीर साझा करते हुए उन्होंने लिखा, “खेतों में काम करना आत्मिक आनंद देता है. कृषि हमें आत्मनिर्भर बनाती है और जमीन से जुड़ना सिखाती है.”

Sunday 20 जुलाई को पूर्व शिक्षा मंत्री और कांग्रेस नेता बंधु तिर्की ने रांची के अपने पैतृक गांव बनहोरा में हल-बैल लेकर खेत में उतरकर घंटों मेहनत की और खुद धान की रोपाई की. बंधु तिर्की ने कहा, “आधुनिकता जरूरी है, लेकिन अपनी जमीन और परंपरा से जुड़ाव उससे भी ज्यादा जरूरी है.”

18 जुलाई को कृषि, पशुपालन और सहकारिता मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की भी चान्हो प्रखंड के रघुनाथपुर गांव में महिलाओं के साथ खेत में धान की रोपनी करने पहुंचीं. उन्होंने ग्रामीण महिलाओं के साथ मिलकर खेत में पौध लगाई और गीत गाए. 17 जुलाई को खूंटी के विधायक रामसूर्या मुंडा ने खेत में पहुंचकर किसानों के साथ बिचड़ा उखाड़ने में मदद की और उनकी समस्याओं को भी सुना.

19 जुलाई को पलामू की एसपी रीष्मा रमेशन ने अपने आवासीय परिसर के खेत में पारंपरिक गीत गाते हुए अन्य महिलाओं के साथ धान की रोपाई की. यह पहली बार है जब किसी एसपी ने खुद खेत में उतरकर धान रोपा है. पूर्व सांसद कड़िया मुंडा, पूर्व Chief Minister चंपाई सोरेन, मधु कोड़ा और पूर्व मंत्री सत्यानंद भोक्ता जैसे जनप्रतिनिधि भी समय-समय पर खेतों में हल-बैल चलाते और धान रोपते दिख जाते हैं.

झारखंड में इस वर्ष 18 लाख हेक्टेयर में धान की खेती का लक्ष्य है. पिछले वर्ष 15.96 लाख हेक्टेयर में ही धान की रोपनी हो पाई थी, जो तय लक्ष्य का 88.68 प्रतिशत था. लेकिन इस बार समय पर और अधिक बारिश की संभावना से लक्ष्य को पूरा करने और रिकॉर्ड उत्पादन की उम्मीद है.

एसएनसी/एएस

The post झारखंड के धान रोपाई का ‘उत्सव’ परवान पर, ‘कादो-कीचड़ भरे’ खेतों में उतर रहे मंत्री, विधायक और अफसर appeared first on indias news.

Loving Newspoint? Download the app now