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हिंदुस्तान की आर्मी बहुत मजबूत है, पूरी दुनिया ने इसे देखा: रिटायर्ड मेजर जनरल पीके सेहगल

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नई दिल्ली, 12 मई . भारतीय थल सेना के महानिदेशक सैन्य अभियान (डीजीएमओ) लेफ्टिनेंट जनरल राजीव घई ने रविवार को एक प्रेस ब्रीफिंग करके आतंकवाद के खिलाफ चलाए गए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता बताई. रक्षा मामलों के विशेषज्ञ एवं रिटायर्ड मेजर जनरल पी. के. सेहगल ने कहा कि हिंदुस्तान की सेना बहुत मजबूत है, इसे पूरी दुनिया ने देखा.

रक्षा मामलों के विशेषज्ञ एवं रिटायर्ड मेजर जनरल पी. के. सेहगल ने समाचार एजेंसी से कहा, “भारत ने साफतौर पर कहा था कि जिन्होंने आतंकी गतिविधियां की है, उन्हें हम नहीं छोड़ेंगे. ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का भी यह मतलब था कि जिन्होंने हमारी बेटियों को विधवा किया है, उन्हें भी इसी तरह सजा देंगे और वास्तव में उस तरह सजा दी गई. इसी को ध्यान में रखकर हमने नौ आतंकी टारगेट चुने और उन्हें बर्बाद किया. कई मिसाइल और ड्रोन से हमले किए गए. सारे मिसाइल सफल रहे. हमारी सैन्य कार्रवाई बहुत सफल रही. सिर्फ अमेरिका और इजरायल ने ही ऐसी सैन्य कार्रवाई की है. पूरी दुनिया ने देखा कि हिंदुस्तान की आर्मी बहुत मजबूत है. पाकिस्तान अमेरिका के पास भाग कर खुद को बचाने की गुहार लगाई. वहीं उसके डीजीएमओ ने सीजफायर का प्रस्ताव रखा.”

उन्होंने कहा, “आतंकवाद एक विचारधारा है, जिसे खत्म करना नामुमकिन है, लेकिन इस समय हमने उनकी रीढ़ की हड्डी तोड़ दी है.”

पाकिस्तान में सीजफायर के बाद जीत मनाने पर पी.के. सेहगल ने कहा, “पाकिस्तान 1965, 1972 और 1999 में हारने के बावजूद पाकिस्तान अपने लोगों को बता रहा था कि वो भारत को बड़े पैमाने पर नुकसान पहुंचा रहे हैं. वो सिर्फ अफवाह फैला रहे हैं.”

भारतीय डीजीएमओ की तरफ से ‘ऑपरेशन सिंदूर’ खत्म नहीं होने वाले बयान पर उन्होंने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर इसलिए खत्म नहीं हुआ, क्योंकि यह कंडीशनल सीजफायर है. सोमवार को भारत और पाकिस्तान के डीजीएमओ की बात होगी. इस समय जो भी आतंकवादी खड़ा होगा, हम उसे बर्बाद करेंगे.”

‘ऑपरेशन सिंदूर’ में नेवी की भूमिका पर उन्होंने कहा, “यह तीनों सेनाओं का जबरदस्त तालमेल था. कराची पोर्ट को हर प्रकार से ब्लॉक किया गया. अगर आवश्यकता पड़ती तो 1971 की तरह कराची पोर्ट पर अटैक करते.”

एससीएच/डीएससी

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