AGMUT (अरुणाचल प्रदेश, गोवा, मिजोरम और केंद्र शासित प्रदेश) कैडर के वरिष्ठ IAS अधिकारी कन्नन गोपीनाथन अब कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। दिलचस्प बात यह है कि उन्होंने साल 2019 में ही अपनी सेवा से इस्तीफा दे दिया था, लेकिन अब तक उनका इस्तीफा आधिकारिक तौर पर स्वीकार नहीं किया गया है। इस वजह से उनकी नौकरी की स्थिति अभी भी अस्पष्ट बनी हुई है। गोपीनाथन ने आर्टिकल 370 के हटाए जाने के विरोध में इस्तीफा दिया था।
नौकरी की स्थिति और विभागीय रिकॉर्ड
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, DoPT (कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग) के रिकॉर्ड में गोपीनाथन अभी भी सेवा में दिखाए गए हैं। 21 नवंबर 2023 को अपडेट हुए रिकॉर्ड के मुताबिक वह दादर और नगर हवेली में पावर डेवलपमेंट सेक्रेटरी के पद पर तैनात हैं। हालांकि, विभाग की तरफ से इस मामले में कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं आई है।
IAS अधिकारियों और राजनीति के नियम
सरकारी नियम स्पष्ट रूप से कहते हैं कि कोई भी सिविल सेवा अधिकारी राजनीतिक दल में शामिल नहीं हो सकता और चुनाव नहीं लड़ सकता। सेंट्रल सिविल सर्विसेज (कंडक्ट) रूल्स, 1964 के नियम 5 के मुताबिक, "कोई भी सरकारी कर्मचारी किसी राजनीतिक दल या संगठन से जुड़ा नहीं होगा, न ही चुनावी गतिविधियों में भाग लेगा और न ही राजनीतिक आंदोलनों या गतिविधियों में कोई आर्थिक या अन्य सहायता प्रदान करेगा।"
गोपीनाथन का बयान
अखबार से बातचीत में गोपीनाथन ने कहा कि उन्हें अभी तक अपने इस्तीफे के स्वीकार होने की पुष्टि नहीं मिली है। उन्होंने बताया, "सरकार के 6 साल तक इस्तीफा लंबित रखने से मेरी पेशेवर विश्वसनीयता प्रभावित हुई है। मैंने पहले ही इस्तीफा दे दिया था और अब किसी अनुशासनात्मक कार्रवाई का कोई अर्थ नहीं है।"
कांग्रेस में शामिल होने के बाद उन्होंने कहा, "2019 में मैंने इस्तीफा इसलिए दिया क्योंकि मुझे लगा कि देश जिस दिशा में जा रहा है, वह सही नहीं है। इस फैसले के बाद मैं देश के 80-90 जिलों में गया, लोगों और नेताओं से संवाद किया। अब मुझे स्पष्ट है कि कांग्रेस ही देश को सही दिशा में ले जा सकती है।"
इस्तीफा लंबित होने के प्रभाव
विशेषज्ञों का कहना है कि गोपीनाथन इस्तीफा स्वीकार न होने तक चुनाव नहीं लड़ सकते। अधिकारियों के अनुसार, यदि वह नामांकन दाखिल करते हैं, तो उनकी उम्मीदवारी रिजेक्ट हो जाएगी। यह मामला IAS अधिकारियों और राजनीतिक नियमों के बीच टकराव का उदाहरण भी बन गया है।
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