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तीन गिरफ्तार; पो”स्टमार्टम रिपोर्ट से खुलेगा राज, बेतिया में नाबालिग से होटल में दु”ष्कर्म के बाद मौत

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बेतिया:- पश्चिम चंपारण से एक रूह कंपा देने वाली घटना सामने आई है, जिसने पूरे जिले को झकझोर कर रख दिया है। मैनाटांड़ थाना क्षेत्र की एक नाबालिग लड़की के साथ नरकटियागंज के एक होटल में कथित दु”ष्कर्म की वारदात के बाद उसकी इलाज के दौरान मौत हो गई। इस मामले में पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है और होटल प्रबंधन से गहन पूछताछ जारी है।

बताया जा रहा है कि 19 जून की दोपहर, लड़की कंप्यूटर क्लास के बहाने घर से निकली थी। लेकिन यह सामान्य दिन उसके लिए एक दर्दनाक मोड़ लेकर आया। वह अपने दो दोस्तों के साथ नरकटियागंज पहुंची, जहां एक होटल में कमरा बुक कर रुकने की बात सामने आई। पुलिस के अनुसार, तीनों ने आपसी सहमति की बात कही, लेकिन प्रथम दृष्टया यह एक सोची-समझी साजिश प्रतीत हो रही है।

होटल में शा’रीरिक सं’बंध के दौरान लड़की की तबीयत अचानक बिगड़ गई और वह बेहोश हो गई। घबराए आरोपियों ने उसे नरकटियागंज के गुप्ता हॉस्पिटल में भर्ती कराया, फिर हालत गंभीर देखते हुए उसे बेतिया के गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया,जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।

घटना को छिपाने की कोशिश भी की गई। एक आरोपी ने परिजनों को फोन कर झूठी कहानी गढ़ते हुए एक्सीडेंट की बात कही। लेकिन जब परिजन अस्पताल पहुंचे, तो सच्चाई सामने आई और मामला मैनाटांड़ थाने में दर्ज कराया गया।

पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए तीनों आरोपियों भोलू कुमार ,चौरसिया रूपेश कुमार,अहिरौलिया और सचिन कुमार ,ठाकुर टोला, लौरिया को गिरफ्तार कर लिया है। पूछताछ में तीनों ने अपने अपराध को स्वीकार कर लिया है। इनके पास से एक हीरो स्प्लेंडर बाइक भी बरामद की गई है।

इधर एसपी डॉ. शौर्य सुमन ने जानकारी दी है कि होटल प्रबंधन की भूमिका की भी जांच हो रही है। होटल के सीसीटीवी फुटेज जब्त कर लिए गए हैं और यह देखा जा रहा है कि कमरा बुकिंग के समय दस्तावेजों की सही जांच की गई थी या नहीं। पो’स्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार है, जिससे मौत का असली कारण साफ हो सकेगा।

इस बीच, जनसुराज के नेताओं ने इस घटना को लेकर सरकार और प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि अगर समय पर इलाज मिलता तो बच्ची की जान बच सकती थी। उन्होंने जीएमसीएच की व्यवस्था पर सवाल उठाते हुए कहा कि जीएमसीएच में समय से इलाज नही किया गया,जिससे बच्ची की मौ’त हो है, सरकार से पीड़ित परिवार को एक करोड़ रुपये का मुआवजा और एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने की मांग की है। साथ ही निष्पक्ष जांच की भी मांग की गई है।

यह मामला केवल एक अपराध नहीं, बल्कि सिस्टम की कई परतों को उजागर कर रहा है ,परिवार की सुरक्षा, होटल प्रबंधन की जिम्मेदारी, मेडिकल व्यवस्था की खामियां और समाज में बढ़ती आपराधिक प्रवृत्तियां। अब सभी की निगाहें पो’स्टमार्टम रिपोर्ट और न्यायिक कार्रवाई पर टिकी हैं।

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