– पर्यटकों के भ्रमण के लिये 40 गोल्फ कार्ट का होगा संचालन
भोपाल, 28 सितम्बर (Udaipur Kiran News) . Madhya Pradesh की राजधानी भोपाल के राष्ट्रीय उद्यान वन विहार में प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए सकारात्मक बदलाव किया गया है. यहां वन्य-प्राणियों के लिए शोररहित बनाने के उद्देश्य से अब पर्यटकों के वाहनों का प्रवेश निषेध रहेगा.
जनसम्पर्क अधिकारी केके जोशी ने sunday को जानकारी देते हुए बताया कि वन विहार को प्रदूषण मुक्त करने के लिए जल्द ही पर्यटकों के भ्रमण के लिये 40 गोल्फ कार्ट का संचालन शुरू किया जाएगा. इन 40 गोल्फ कार्ट में से 32 गोल्फ कार्ट ‘हाफ ऑन हाफ ऑफ’ पद्धति से संचालन के लिये उपलब्ध रहेंगे, वहीं 8 गोल्फ कार्ट (6 सीटर) पर्यटकों के लिये पूर्ण रूप से 3 घंटे के लिये बुकिंग पर उपलब्ध रहेंगे. इन गोल्फ कार्ट का संचालन वन विहार के दोनों गेटों से हर 10 मिनट पर निरंतर जारी रहेगा. ये कार्ट प्रत्येक ब्ल्यू प्वाइंट पर 30 सेकेंड से एक मिनट के लिये रुकेंगी. इससे पर्यटकों को स्वेच्छानुसार वन्य-प्राणियों को देखने का पर्याप्त समय मिलेगा.
उन्होंने बताया कि वन विहार में पैदल भ्रमण, किराये और स्वयं की साइकिल से भ्रमण के लिये शाकाहारी सफारी की सुविधा उपलब्ध रहेगी. पर्यटकों के लिये सशुल्क 150 नई साइकिलें भी उपलब्ध रहेंगी, जिससे वन विहार भ्रमण और सुगम बनेगा. विभिन्न प्रकार के माध्यम से भ्रमण करने के लिये पर्यटकों को विभिन्न रंग के पर्यावरण अनुकूल बैण्ड दिये जायेंगे, जिससे किसी भी प्रकार की भ्रम की स्थिति उत्पन्न न हो.
वन विहार में पर्यटक वाहन पार्किंग के लिये निर्धारित न्यूनतम शुल्क पर विशेष व्यवस्था की गयी है. चार पहिया वाहनों की पार्किंग के लिये प्रवेश द्वारा क्रमांक-2 पर पार्किंग स्थल बनाया गया है और दो पहिया वाहनों की पार्किंग प्रवेश द्वार क्रमांक-1 और 2 पर रहेगी.
(Udaipur Kiran) तोमर
You may also like
कैब कंपनियों की बेलगाम मनमानी! राजस्थान में धड़ल्ले से चल रहीं अवैध बाइक टैक्सियां, हादसा हुआ तो नहीं मिलेगा क्लेम
Sharadiya Navratri: नवमी तिथि का ये रहेगा समय, इस शुभ मुहूर्त पर करें कन्या पूजन
बुखार में ये गलतियाँ पड़ सकती हैं भारी, आयुर्वेद से जानें सही सावधानियाँ
यूपी इंटरनेशनल ट्रेड शो में 2,250 प्रदर्शकों और 5 लाख से अधिक आगंतुकों की रही रिकॉर्ड भागीदारी, 11,200 करोड़ की हुई व्यावसायिक पूछताछ
भीषण हादसा, पूरी बिल्डिंग ढहीः 65 बच्चों की मलबे में दबने से मौत